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**पुस्तक परिचय**
यह पुस्तक **"काउंटर इवोल्यूशन"** (Counter Evolution) के विषय पर आधारित है, जिसमें क्रमविकास (Evolution) के सिद्धांत को चुनौती देते हुए सृजनवाद (Creation Theory) के दृष्टिकोण को प्रस्तुत किया गया है।
पुस्तक में कुल पाँच अध्याय हैं, जो क्रमविकास के मूल सिद्धांतों को समझाने और उनके विरुद्ध ठोस वैज्ञानिक तथ्यों और प्रमाणों के साथ तर्क प्रस्तुत करने पर केंद्रित हैं। प्रथम अध्याय में क्रमविकास के सिद्धांत की विस्तृत व्याख्या दी गई है, ताकि पाठक इसे बेहतर तरीके से समझ सकें। इसके बाद के अध्यायों में वैज्ञानिक तथ्यों, शोधों, और उन वैज्ञानिकों के कार्यों पर चर्चा की गई है जिन्होंने क्रमविकास को असत्य सिद्ध करने की दिशा में कार्य किया है। इस पुस्तक में यह भी बताया गया है कि किस प्रकार चार्ल्स डार्विन के सिद्धांत में कई खामियां हैं।
अंतिम और महत्वपूर्ण अध्याय में सृजनवाद का परिचय और उसकी वैज्ञानिक आधार पर चर्चा की गई है। इसमें यह बताया गया है कि किस प्रकार सृजन का सिद्धांत क्रमविकास के सिद्धांत का एक वैकल्पिक दृष्टिकोण प्रस्तुत करता है, जो जीवन के उद्भव और विकास को एक उद्देश्यपूर्ण रचना के रूप में देखता है।
**प्रमुख विषय-वस्तु:**
1. क्रमविकास का परिचय और उसके सिद्धांतों की विस्तृत व्याख्या।
2. क्रमविकास के विरोध में वैज्ञानिक तर्क और प्रमाण।
3. डीएनए और जटिल जीव विज्ञान का विश्लेषण, जो सृजनवाद का समर्थन करता है।
4. सृजनवाद के विभिन्न मॉडल – युवा पृथ्वी सृजनवाद, पुरानी पृथ्वी सृजनवाद और इंटेलिजेंट डिज़ाइन।
5. सृजनवाद के सिद्धांत का वैज्ञानिक, नैतिक और दार्शनिक महत्व।
यह पुस्तक उन पाठकों के लिए उपयोगी है जो जीवन और ब्रह्मांड के मूल कारणों को समझने में रुचि रखते हैं और क्रमविकास के सिद्धांत के विकल्पों पर एक संतुलित दृष्टिकोण प्राप्त करना चाहते हैं।
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