You can access the distribution details by navigating to My pre-printed books > Distribution
₹ 173
आत्मीय प्रेम की ये कवितायेँ भोतिक भावनाओं से परे जाती हैं, एक ऐसी आदर्श प्रेमाभिव्यक्ति जिसमे मिलन या बिछोह नहीं है, एक बहाव है, प्रेम बहते जाना है रुकना नहीं है, न थमना है | प्रेम बांधना भी नहीं है, प्रेम स्वतंत्रता है अपनी प्रकृति में रहना और प्रकृति के अनुसार अंततः एक दूसरे को समझना और एक दुसरे में समाहित हो जाना है, प्रेम की इन्ही भावनाओ की अभिव्यक्ति है इन कविताओं में | कुछ अधूरे से इसी तरह की मानवीय अनुभूति की कवितायेँ हैं जो हर पाठक को अपनेपन का अहसास कराती हैं | प्रेम की अनोखी भावना में डूबी ये कवितायेँ पाठकों को अपनी लगेंगी ऐसी उम्मीद है |
Currently there are no reviews available for this book.
Be the first one to write a review for the book कुछ अधूरे से.