You can access the distribution details by navigating to My pre-printed books > Distribution
वैशाली की योनि अपनी प्रकृति के अनुरूप कार्य करते हुए निहाल के पाँचवे सम्भोग को स्वीकार नहीं कर पा रही थी जो गर्भ-विवाह की एक अनिवार्य शर्त थी. निहाल की बेचैनी को समझते हुए मंदिर प्रबंधन ने उनके लिए प्रेम की कला के बारे में विशेष प्रशिक्षण का प्रबंध किया जिसकी सहायता से निहाल ने वैशाली के गर्भ को संतुष्ट कर दिया और गर्भ-विवाह की अनुमति प्राप्त कर ली. इस पवित्र संस्कार के पूर्ण होते ही न केवल वैशाली और निहाल को मुक्त यौन सम्बन्ध बनाने की स्वतंत्रता मिल गई बल्कि रितिका और श्वेता को भी अपने माता-पिता का मिलन कराने का अधिकार प्राप्त हो गया.
Currently there are no reviews available for this book.
Be the first one to write a review for the book द डिवाइन वेडिंग 5.