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पुकार ख़्वाहिशों की
By Saloni Singh Chauhan
"पुकार ख़्वाहिशों की" भावनाओं के उस अनसुने संसार की एक सुंदर पुकार है, जहाँ प्रेम, विरह, सपनों और संवेदनाओं का अद्भुत संगम होता है।
हर कविता व नज़्म , कभी दिल की गहराइयों से उठती एक पुकार है, तो कभी ख़ामोशी में छुपी एक रुकी हुई ख़्वाहिश।
यह संग्रह आपको प्रेम की मासूमियत से लेकर वियोग की टीस, रूहानी रिश्तों से लेकर अधूरी ख्वाहिशों तक — एक भावनात्मक यात्रा पर ले जाएगा।
प्रिय माधव, पहली मुलाकात, रूह की महक, तेरा महबूब, और अदृश्य रथ रुपी प्रेम जैसी रचनाएँ दिल को छूने वाली संवेदनाओं से भरी हैं।
अगर आप शब्दों में बहते जज़्बातों को महसूस करना चाहते हैं और कविता की दुनिया में डूब जाना चाहते हैं, तो "पुकार ख़्वाहिशों की" आपके दिल के सबसे कोमल तारों को छूने वाली एक अनमोल साथी बनेगी।
आइए, इस ख़ामोश पुकार में अपने दिल की आवाज़ को सुनें।
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