परवाज ए तसव्वुर
परवीन शाकिर
परिवर्तित परिवेश (काव्य संग्रह)
पल दो पल
पहला कदम उठाना होगा ( Pehla Kadam Uthana Hoga )
पापा और बचपन
पावसाभिर
पिंटा
पिघलती बर्फ
पुराना तालाब
पृथ्वी तनया
प्यार अभी बाकी है / Pyar Abhi Baaki Hai
प्यार से परमात्मा तक
प्रकृति के पथ पर
प्रकृति-प्रेरित कविता का संग्रह"
प्रतिबिंब
प्रभु का (शिकारी) श्वान रूप
प्रेम की ध्वनि
प्रेम-पुरातन
फणसाचे गीतगरे
फरिश्ते
फिर आई दिवाली
बंदगी