सम्बन्धों की दुनिया (खेल प्यार के)
तुम्हारी कमी है, माँ (उपन्यास)
'नामवर सिंह का आलोचनाकर्म -एक पुनर्पाठ'
स्वर्गविभा ऑनलाइन त्रैमासिक हिंदी पत्रिका सितम्बर २०२२
स्वर्गविभा त्रैमासिक ऑन लाइन पत्रिका मार्च २०२३
साहित्यिक संवेदनाएँ और कोरोना महामारी